नई दिल्ली, 17 सितंबर 2024 — भारत सरकार ने 2030 तक नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्र में बड़े पैमाने पर वृद्धि करने के लिए नए लक्ष्यों की घोषणा की है। इस योजना के तहत, सरकार ने लक्ष्य निर्धारित किया है कि 2030 तक कुल ऊर्जा मिक्स में नवीकरणीय ऊर्जा का हिस्सा 50% तक पहुंच जाएगा, जो वर्तमान में 40% है। इस लक्ष्यानुसार, सरकार ने सौर और पवन ऊर्जा परियोजनाओं का व्यापक विस्तार करने के साथ-साथ बैटरी स्टोरेज प्रौद्योगिकी में सुधार करने की योजना बनाई है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस पहल की महत्वपूर्णता पर जोर देते हुए कहा कि यह भारत के कार्बन तटस्थता लक्ष्यों की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने बताया कि इस नई नीति से न केवल पर्यावरणीय सुधार होंगे, बल्कि विदेशी निवेश आकर्षित होगा और नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्र में कई नई नौकरियों के अवसर भी उत्पन्न होंगे, जिससे आर्थिक विकास को भी बढ़ावा मिलेगा।
इसके अलावा, सरकार ने इस योजना के अंतर्गत नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाओं के लिए वित्तीय प्रोत्साहन और तकनीकी सहायता प्रदान करने का भी प्रस्ताव रखा है। इन प्रयासों से भारत का लक्ष्य है कि वह वैश्विक जलवायु परिवर्तन के मुकाबले में अग्रणी भूमिका निभा सके और दीर्घकालिक स्थिरता की दिशा में महत्वपूर्ण योगदान दे सके।
सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के बीच सहयोग को बढ़ावा देने और स्थानीय स्तर पर सौर और पवन ऊर्जा परियोजनाओं के कार्यान्वयन को सुगम बनाने के लिए विशेष योजनाएं बनाई गई हैं। इसके अतिरिक्त, सरकार ने ऊर्जा कुशल उपकरणों और सस्टेनेबल प्रथाओं को अपनाने के लिए जन जागरूकता अभियानों को भी बढ़ावा देने की बात की है।
सरकार की इस महत्वाकांक्षी योजना के तहत विभिन्न राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों में नई नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाओं की शुरुआत की जाएगी, जिससे स्थानीय रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे। यह योजना देश के ऊर्जा सेक्टर को न केवल पर्यावरण के प्रति संवेदनशील बनाएगी, बल्कि भारत को एक सशक्त और आत्मनिर्भर ऊर्जा शक्ति बनाने में भी सहायक सिद्ध होगी।